रूस के सुखोई Su-34 ने तीन अमेरिकी ‘पैट्रियट’ मिसाइलों को गच्चा दिया!
रूस और यूक्रेन के बीच संघर्ष का रोमांचक पल
रूस और यूक्रेन के बीच जारी युद्ध के 1,017वें दिन एक दिलचस्प घटना ने सोशल मीडिया पर तूफान मचा दिया। रूस का सुखोई Su-34 लड़ाकू बॉम्बर जेट, जो किसी भी उच्चतम युद्धक विमान की तरह कार्य करता है, ने अमेरिका में बनीं तीन ‘पैट्रियट’ मिसाइलों से बचकर एक असाधारण कारनामा किया। ये मिसाइलें यूक्रेन की तरफ से दागी गई थीं। यह वाकया यूक्रेन के मारियुपोल शहर के पास हुआ और रूस के पायलट की काबिलियत को साबित करता है।
ऑडियो रिकॉर्डिंग ने किया सबको हैरान
यूक्रेनी एयर डिफेंस द्वारा दागी गई तीन ‘पैट्रियट’ मिसाइलों से बचने के दौरान, रूसी पायलट ने अपनी सूझबूझ और कौशल का अद्भुत प्रदर्शन किया। इस घटना का एक ऑडियो रिकॉर्डिंग वायरल हो चुका है, जो रूस के सुखोई Su-34 के कॉकपिट से है। इस ऑडियो में सुनाई देता है कि कैसे रूस के पायलट ने मिसाइलों को अलग-अलग दिशाओं में मोड़कर अपनी जान बचाई। यूज़र इसे देखकर और सुनकर पायलट की तारीफ कर रहे हैं।
पायलट की सूझबूझ ने बचाया विमान
सुखोई Su-34 के रूसी नेविगेटर ने पायलट को आगाह किया था कि ‘पैट्रियट’ मिसाइलें उनकी तरफ आ रही हैं। पायलट ने तत्परता से विमान को नियंत्रित किया और इन मिसाइलों से बचने के लिए इसे कई दिशाओं में घुमा दिया। हालांकि, एक पैट्रियट मिसाइल के करीब आने पर उसका इंटरकॉम क्षतिग्रस्त हो गया, लेकिन इसके बावजूद विमान ने अपने मिशन को पूरा किया और सुरक्षित वापस लौटा।
पुतिन को इस जांबाज पायलट पर होगा गर्व
इस कारनामे को लेकर रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन निश्चित ही अपने पायलट पर गर्व महसूस करेंगे। ऐसा माना जा रहा है कि अगर पुतिन यह रिकॉर्डिंग सुनेंगे, तो वे निश्चित रूप से पायलट की काबिलियत की सराहना करेंगे। रूस के लिए यह एक बडी जीत का संकेत हो सकता है, जो यूक्रेन की ओर से लगातार पैट्रियट मिसाइलों की चुनौती का सामना कर रहा है।
यूक्रेन पर रूसी हमले और अंतर्राष्ट्रीय राजनीति
इस घटना के बीच, यूक्रेन में रूस के हमलों का सिलसिला जारी है, जिसमें कई लोग हताहत हो गए हैं। इसके अलावा, डेनमार्क द्वारा यूक्रेन को एफ-16 लड़ाकू विमानों की दूसरी खेप भेजने के बाद स्थिति और भी जटिल हो गई है। यूक्रेन के राष्ट्रपति वोलोदिमिर जेलेंस्की ने इस संबंध में बयान देते हुए रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन पर शांति की कोशिशों को नकारने का आरोप लगाया।
निष्कर्ष
रूस का सुखोई Su-34 लड़ाकू बॉम्बर जेट ने यह साबित कर दिया कि युद्ध में न केवल ताकतवर हथियार बल्कि चतुराई और पायलट की काबिलियत भी अहम होती है। यह घटना न केवल रूस के लिए एक बड़ी जीत है, बल्कि यह भी दर्शाती है कि रूस और यूक्रेन के बीच चल रहे संघर्ष में हर दिन कुछ नया और रोमांचक देखने को मिलता है।