नरेंद्र मोदी की कैबिनेट ने ‘एक राष्ट्र, एक चुनाव’ प्रस्ताव को मंजूरी दी, ओवैसी ने उठाए गंभीर सवाल
नरेंद्र मोदी की अगुआई वाली केंद्रीय कैबिनेट ने ‘एक राष्ट्र, एक चुनाव’ के प्रस्ताव को मंजूरी दे दी है। इस प्रस्ताव का मुख्य उद्देश्य लोकसभा और राज्य विधानसभाओं के चुनावों को एक ही समय पर कराना है। इस निर्णय के बाद, देशभर में एक साथ चुनाव कराने की दिशा में महत्वपूर्ण कदम उठाए गए हैं।
इस प्रस्ताव के खिलाफ प्रतिक्रिया देते हुए एआईएमआईएम प्रमुख असदुद्दीन ओवैसी ने ट्वीट किया कि उन्होंने लगातार ‘एक राष्ट्र, एक चुनाव’ का विरोध किया है। ओवैसी ने इसे “समस्या की तलाश में एक समाधान” बताया और कहा कि यह संघवाद को नष्ट करता है और लोकतंत्र से समझौता करता है, जो कि संविधान के मूल ढांचे का हिस्सा है। उन्होंने यह भी कहा कि मोदी और शाह को छोड़कर किसी के लिए भी कई चुनाव कोई समस्या नहीं हैं।
ओवैसी के इस बयान ने ‘एक राष्ट्र, एक चुनाव’ के प्रस्ताव के खिलाफ राजनीतिक बहस को और गहरा कर दिया है। इस प्रस्ताव के समर्थन और विरोध में विभिन्न विचार सामने आ रहे हैं, और इसका प्रभाव भारतीय राजनीति और संविधान पर किस प्रकार पड़ेगा, यह आने वाले दिनों में स्पष्ट होगा।